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Showing posts from January, 2021

वैज्ञानिक दृष्टिकोण के साथ आजीवन प्रयोग किए गांधी जी ने – प्रो वर्मा ; गांधी जी की पुण्यतिथि पर विक्रम विश्वविद्यालय में हुआ विशिष्ट व्याख्यान

वैज्ञानिक दृष्टिकोण के साथ आजीवन प्रयोग किए गांधी जी ने – प्रो वर्मा  गांधी जी की पुण्यतिथि पर विक्रम विश्वविद्यालय में हुआ विशिष्ट व्याख्यान  मौन श्रद्धांजलि, गांधी जी की प्रतिमा पर पुष्पांजलि और उनके प्रिय भजनों की प्रस्तुति की गई उज्जैन। विक्रम विश्वविद्यालय, उज्जैन में गांधी जी की पुण्यतिथि पर महात्मा गांधी और उनका वैज्ञानिक दृष्टिकोण पर केंद्रित विशिष्ट व्याख्यान का आयोजन 30 जनवरी को प्रातः काल महाराजा जीवाजीराव पुस्तकालय परिसर में सम्पन्न हुआ। इस अवसर पर पुस्तकालय प्रांगण में सामूहिक मौन धारण किया गया एवं गांधी जी की प्रतिमा पर पुष्पांजलि अर्पित की गई।   विक्रम विश्वविद्यालय, उज्जैन में आयोजित कार्यक्रम के मुख्य अतिथि विक्रम विश्वविद्यालय, उज्जैन के पूर्व कुलपति प्रो आर सी वर्मा थे। अध्यक्षता विक्रम विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो अखिलेश कुमार पांडेय ने की। आयोजन के विशिष्ट अतिथि प्रभारी कुलसचिव डा डी के बग्गा थे। कार्यक्रम के मुख्य अतिथि प्रो आर सी वर्मा ने अपने उद्बोधन में कहा कि गांधीजी ने आजीवन वैज्ञानिक दृष्टिकोण के साथ प्रयोग किए। उनकी पुस्तकें हिंद स्वराज और आत्मकथा सत्य के प

उज्जैन कोरोना हेल्थ बुलेटिन 30 जनवरी 2021

उज्जैन कोरोना हेल्थ बुलेटिन दिनांक 30 जनवरी 2021 पॉजिटिव आए सैंपल की संख्या = 05 आज दिनांक तक मौत = 103

उज्जैन कोरोना हेल्थ बुलेटिन 29 जनवरी 2021

  उज्जैन कोरोना हेल्थ बुलेटिन दिनांक 29 जनवरी 2021 पॉजिटिव आए सैंपल की संख्या = 04 आज दिनांक तक मौत = 103

कोविड - 19 तथ्यपरक जागरूकता अभियान

  विक्रम विश्वविद्यालय, उज्जैन का अनुरोध कोविड - 19 के संक्रमण से रोकथाम और बचाव के उपायों से सम्बंधित तथ्यात्मक सन्देशों को समस्त शिक्षकों, शोधकर्ताओं, विद्यार्थियों, शैक्षिक संस्थानों, जन समुदाय और समूहों के मध्य प्रसारित करने का अनुरोध है।

शिक्षक शिक्षा को आनन्दमयी बनाना जरूरी है – प्रो रमा मिश्रा

शिक्षक शिक्षा को आनन्दमयी बनाना जरूरी है – प्रो रमा मिश्रा  राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 के परिप्रेक्ष्य में शिक्षक - शिक्षा की चुनौतियाँ एवं समाधान पर केंद्रित संगोष्ठी  सम्पन्न विक्रम विश्वविद्यालय, उज्जैन और विद्या भारती उच्च शिक्षा संस्थान के संयुक्त तत्त्वावधान में एक दिवसीय राष्ट्रीय संगोष्ठी का आयोजन विक्रम विश्वविद्यालय के मुख्य प्रशासनिक भवन परिसर स्थित शलाका दीर्घा सभागार में 29 जनवरी 2021 को किया गया। यह संगोष्ठी राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 के परिप्रेक्ष्य में शिक्षक - शिक्षा की चुनौतियाँ एवं समाधान पर केंद्रित थी। संगोष्ठी में देश के विभिन्न भागों के विद्वान और शिक्षाविदों ने भाग लिया। संगोष्ठी का उद्घाटन 29 जनवरी को प्रातःकाल 10 : 30 बजे विक्रम विश्वविद्यालय, उज्जैन के कुलपति प्रो. अखिलेश कुमार पाण्डेय की अध्यक्षता में सम्पन्न हुआ। बीज वक्तव्य विद्या भारती, अखिल भारतीय शिक्षा संस्थान, नई दिल्ली की राष्ट्रीय उपाध्यक्ष डॉ रमा मिश्रा ने दिया। विशिष्ट अतिथि महर्षि सांदीपनि राष्ट्रीय वेदविद्या प्रतिष्ठान, शिक्षा मंत्रालय, उज्जैन के सचिव प्रो विरुपाक्ष वि. जड्डीपाल, विद्या भारती उच

उज्जैन कोरोना हेल्थ बुलेटिन 28 जनवरी 2021

  उज्जैन कोरोना हेल्थ बुलेटिन दिनांक 28 जनवरी 2021 पॉजिटिव आए सैंपल की संख्या = 03 आज दिनांक तक मौत = 103

विक्रम विश्वविद्यालय में विभिन्न पाठ्यक्रमों में रिक्त सीटों पर प्रवेश के लिए कर सकेंगे ऑनलाइन आवेदन 5 फरवरी तक ; एलएलएम, बी जे एम सी एवं रामचरितमानस में विज्ञान और संस्कृति पाठ्यक्रम में जारी हैं ऑनलाइन प्रवेश आवेदन

विक्रम विश्वविद्यालय में विभिन्न पाठ्यक्रमों में रिक्त सीटों पर प्रवेश के लिए कर सकेंगे ऑनलाइन आवेदन 5 फरवरी तक एलएलएम, बी. जे. एम. सी. एवं रामचरितमानस में विज्ञान और संस्कृति पाठ्यक्रम में जारी हैं ऑनलाइन प्रवेश आवेदन     उज्जैन :  विक्रम विश्वविद्यालय के विभिन्न विभागों में संचालित जिन पाठ्यक्रमों में सीटें रिक्त हैं, उनकी ऑनलाइन लिंक अब 5 फरवरी 2021 तक खुली रहेगी। इस अवधि में अर्हताप्राप्त विद्यार्थी  प्रवेश शुल्क भी जमा कर सकेंगे। प्रवेश के लिए इच्छुक विद्यार्थी संबंधित अध्ययनशाला या संस्थान में संपर्क कर ऑनलाइन आवेदन कर सकते हैं।  प्रो शैलेंद्रकुमार शर्मा, कुलानुशासक, विक्रम विश्वविद्यालय, उज्जैन ने जानकारी देते हुए बताया कि,  विक्रम विश्वविद्यालय में वर्तमान  सत्र से प्रारंभ हुए विभिन्न पाठ्यक्रमों  में ऑनलाइन  प्रवेश की तिथि भी 5 फरवरी  रहेगी।  विश्वविद्यालय में नवस्थापित  विधि अध्ययनशाला में एल एल एम एवं हिंदी अध्ययनशाला में प्रारंभ किया गए बैचलर ऑफ जर्नलिज्म एंड मास कम्युनिकेशन -  बीजेएमसी एवं रामचरितमानस में  विज्ञान और संस्कृति प्रमाणपत्र पाठ्यक्रम में  प्रवेश जारी है।  

विक्रम विश्वविद्यालय, उज्जैन में महात्मा गांधी की पुण्यतिथि पर 30 जनवरी 2021 को विशिष्ट व्याख्यान होगा ; महात्मा गांधी की प्रतिमा पर पुष्पांजलि होगी

विक्रम विश्वविद्यालय, उज्जैन महात्मा गांधी की पुण्यतिथि पर   30 जनवरी 2021 को विशिष्ट व्याख्यान होगा महात्मा गांधी की प्रतिमा पर पुष्पांजलि होगी शांति और अहिंसा के अद्वितीय उन्नायक महात्मा गांधी की पुण्यतिथि पर विक्रम विश्वविद्यालय, उज्जैन द्वारा गांधी जी की प्रतिमा पर पुष्पांजलि एवं विशिष्ट व्याख्यान सम्पन्न होगा। कार्यक्रम में विक्रम विश्वविद्यालय के पूर्व कुलपति प्रो आर सी वर्मा ‘महात्मा गांधी और उनका वैज्ञानिक दृष्टिकोण’ विषय पर विशिष्ट व्याख्यान देंगे। अध्यक्षता विक्रम विश्वविद्यालय के  कुलपति प्रो अखिलेश कुमार पांडेय करेंगे।  प्रो शैलेंद्रकुमार शर्मा, कुलानुशासक, विक्रम विश्वविद्यालय, उज्जैन ने जानकारी देते हुए बताया कि,   आयोजन 30 जनवरी 2021, शनिवार को प्रातः काल 11 : 00 बजे महाराजा जीवाजीराव पुस्तकालय परिसर, विक्रम विश्वविद्यालय, उज्जैन में सम्पन्न होगा। प्रभारी कुलसचिव डॉ डी के बग्गा ने प्रबुद्धजनों, छात्र - छात्राओं और गणमान्य नागरिकों से आयोजन में उपस्थित होने का अनुरोध किया है।

विक्रम विश्वविद्यालय में एक दिवसीय राष्ट्रीय संगोष्ठी 29 जनवरी को ; राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 के परिप्रेक्ष्य में शिक्षक - शिक्षा की चुनौतियाँ एवं समाधान पर केंद्रित संगोष्ठी का आयोजन उज्जैन में होगा

 विक्रम विश्वविद्यालय में एक दिवसीय राष्ट्रीय संगोष्ठी 29 जनवरी को  राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 के परिप्रेक्ष्य में शिक्षक - शिक्षा की चुनौतियाँ एवं समाधान पर केंद्रित संगोष्ठी का आयोजन उज्जैन में होगा विक्रम विश्वविद्यालय, उज्जैन और विद्या भारती उच्च शिक्षा संस्थान के संयुक्त तत्त्वावधान में एक दिवसीय राष्ट्रीय संगोष्ठी का आयोजन विक्रम विश्वविद्यालय के मुख्य प्रशासनिक भवन परिसर स्थित शलाका दीर्घा सभागार में 29 जनवरी 2021 को होगा। यह संगोष्ठी राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 के परिप्रेक्ष्य में शिक्षक - शिक्षा की चुनौतियाँ एवं समाधान पर केंद्रित होगी। संगोष्ठी में देश के विभिन्न भागों के विद्वान और शिक्षाविद् भाग लेंगे। संगोष्ठी का उद्घाटन 29 जनवरी को प्रातःकाल 10 : 30 बजे विक्रम विश्वविद्यालय, उज्जैन के कुलपति प्रो. अखिलेश कुमार पाण्डेय की अध्यक्षता में सम्पन्न होगा। बीज वक्तव्य विद्या भारती, अखिल भारतीय शिक्षा संस्थान, नई दिल्ली की राष्ट्रीय उपाध्यक्ष डॉ रमा मिश्रा देंगी। विशिष्ट अतिथि महर्षि सांदीपनि राष्ट्रीय वेदविद्या प्रतिष्ठान, शिक्षा मंत्रालय, उज्जैन के सचिव प्रो विरुपाक्ष वि. जड्डीपा

उज्जैन कोरोना हेल्थ बुलेटिन 27 जनवरी 2021

उज्जैन कोरोना हेल्थ बुलेटिन दिनांक 27 जनवरी 2021 पॉजिटिव आए सैंपल की संख्या = 07 आज दिनांक तक मौत = 103

संस्कृत विश्वविद्यालय में आयोजित हुआ गणतन्त्र दिवस

  गणतन्त्र दिवस के अवसर पर महर्षि पाणिनि संस्कृत एवं वैदिक विश्वविद्यालय परिसर में विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. अखिलेश पाण्डेय द्वारा ध्वजारोहण किया गया। इस अवसर पर विश्वविद्यालय के उपकुलपति प्रो. मनमोहन उपाध्याय, कुलसचिव प्रो. प्रशान्त पुराणिक, विभागाध्यक्ष डाॅ तुलसीदास परौहा, वित्तनियन्त्रक श्री आदित्य नागर समेत विश्वविद्यालय के समस्त शिक्षक तथा कर्मचारी उपस्थित रहे‌। कार्यक्रम में मुख्य अतिथि के रूप में विक्रम विश्वविद्यालय के कुलानुशासक प्रो. शैलेन्द्रकुमार शर्मा उपस्थित थे।  ध्वजवन्दन के उपरान्त विश्वविद्यालय परिवार को सम्बोधित करते हुए कुलपति प्रो. पाण्डेय ने कहा कि हमारे संस्कृत क्षेत्र में गणतन्त्र की अवधारणा कोई नवीन बात नहीं है। वैदिक काल में ही गणतन्त्र का स्वरूप स्पष्ट हो चुका था। हमारे ऐतिहासिक ग्रन्थ रामायण एवं महाभारत भी गणतन्त्र की ओर सङ्केत  करते हैं। राम निषाद को मित्र बनाते हैं, तो शबरी के प्रेम भरे बेर खाते हैं। वानर-भालुओं की सेना से युक्त राम का रावण से यद्ध वास्तव में गणतन्त्र का राजतन्त्र के विरुद्ध युद्ध था। महाभारत में भी जननायक युधिष्ठिर को अधिकार दिलाने स्व

विक्रम विश्वविद्यालय, उज्जैन एवं विद्या भारती उच्च शिक्षा संस्थान, मध्यप्रदेश के संयुक्त तत्वावधान में 'राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020' के आलोक में शिक्षक-शिक्षा : चुनौतियाँ एवं समाधान' विषय पर केन्द्रित एक दिवसीय क्षेत्रीय संगोष्ठी आयोजित

  विक्रम विश्वविद्यालय, उज्जैन एवं विद्या भारती उच्च शिक्षा संस्थान, मध्यप्रदेश (राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 के परिप्रेक्ष्य में शिक्षक-शिक्षा : चुनौतियाँ एवं समाधान क्षेत्रीय संगोष्ठी विक्रम विश्वविद्यालय, उज्जैन एवं विद्या भारती उच्च शिक्षा संस्थान, मध्यप्रदेश के संयुक्त तत्वावधान में 'राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020' के आलोक में शिक्षक-शिक्षा : चुनौतियाँ एवं समाधान' विषय पर केन्द्रित एक दिवसीय क्षेत्रीय संगोष्ठी आयोजित है ।   उद्घाटन कार्यक्रम → तिथि : शुक्रवार, माघ कृष्ण प्रतिपदा, विक्रम संवत् २०७७ → दिनांक : 29 जनवरी 2021 → समय : प्रातः - 10 : 30 → स्थान : शलाका दीर्घा, विक्रम विश्वविद्यालय परिसर, उज्जैन (म.प्र.) अध्यक्ष - प्रो. अखिलेश कुमार पाण्डेय (कुलपति, विक्रम विश्वविद्यालय, उज्जैन) बीज वक्तव्य - डॉ. रमा मिश्रा (राष्ट्रीय उपाध्यक्ष, विद्या भारती, अखिल भारतीय शिक्षा संस्थान, नई दिल्ली) विशिष्ट अतिथि - प्रो. विरूपाक्ष वि. जड्डीपाल (सचिव, महर्षि सांदीपनि राष्ट्रीय वेद विद्या प्रतिष्ठान, शिक्षा मंत्रालय, भारत सरकार, उज्जैन) *निवेदक* विक्रम विश्वविद्यालय, उज्जैन (म.प्र.

अत्यंत प्राचीन है भारत में गणतंत्र की परंपरा - कुलपति प्रो. पाण्डेय ; विक्रम विश्वविद्यालय में उल्लासपूर्वक मनाया गया गणतंत्र दिवस

अत्यंत प्राचीन है भारत में गणतंत्र की परंपरा - कुलपति प्रो. पाण्डेय विक्रम विश्वविद्यालय में उल्लासपूर्वक मनाया गया गणतंत्र दिवस उज्जैन :  विक्रम विश्वविद्यालय, उज्जैन में गणतंत्र दिवस उल्लासपूर्वक मनाया गया। कार्यक्रम में कुलपति प्रो अखिलेश कुमार पाण्डेय ने ध्वजारोहण किया। उन्होंने अपने उद्बोधन में कहा कि भारत में अत्यंत प्राचीन काल से गणतंत्र की समृद्ध परंपरा रही है। भगवान शिव का परिवार और गणनायक के रूप में गणपति दुनिया में गणतंत्र के प्रथम उदाहरण हैं। आज के दिन भारत एक सम्प्रभु और पूरी तरह गणतांत्रिक देश बना था। यह अवसर देश के नए संकल्पों, नए स्वप्नों को साकार करने के लिए कुर्बानी देने वाले महान सेनानियों का स्मरण कराता है। अमर शहीदों को मैं विश्वविद्यालय परिवार की ओर से हार्दिक श्रद्धा-सुमन अर्पित करता हूँ। विक्रम विश्वविद्यालय विकास के नए सोपानों पर निरंतर गतिशील बना हुआ है। नैक द्वारा ए ग्रेड की उपलब्धि के साथ हम सम्पूर्ण विकास और शैक्षिक गुणवत्ता - वृद्धि के लिए निरन्तर गतिशील हैं। विश्वविद्यालय में गोपनीय एवं परीक्षा भवन का निर्माण कराया गया है। एसओईटी भवन  विस्तारीकरण एवं छात्

गणतंत्र के अर्थ को समूचे रूप में चरितार्थ करना सभी की जिम्मेदारी - प्रोफेसर शर्मा ; अंतरराष्ट्रीय राष्ट्र वंदन कवि सम्मेलन संपन्न

गणतंत्र के अर्थ को समूचे रूप में चरितार्थ करना सभी की जिम्मेदारी - प्रोफेसर शर्मा अंतरराष्ट्रीय राष्ट्र वंदन कवि सम्मेलन संपन्न देश की प्रतिष्ठित संस्था राष्ट्रीय शिक्षक संचेतना द्वारा गणतंत्र दिवस के अवसर पर अंतरराष्ट्रीय राष्ट्र वंदन कवि सम्मेलन का आयोजन किया गया। आयोजन के प्रमुख अतिथि वरिष्ठ साहित्यकार श्री हरेराम वाजपेयी, इंदौर थे। प्रमुख वक्ता विक्रम विश्वविद्यालय के कुलानुशासक एवं हिंदी विभागाध्यक्ष प्रोफेसर शैलेंद्र कुमार शर्मा थे। अध्यक्षता वरिष्ठ शिक्षाविद डॉ शहाबुद्दीन नियाज मोहम्मद शेख, पुणे ने की। विशिष्ट अतिथि प्रवासी साहित्यकार श्री सुरेशचंद्र शुक्ल शरद आलोक, ओस्लो, नॉर्वे, श्रीमती सुवर्णा जाधव, मुंबई एवं संस्था के महासचिव डॉ प्रभु चौधरी थे। आयोजन में देश के विभिन्न भागों के साहित्यकारों ने राष्ट्रभक्तिपूर्ण कविताएं सुनाईं। प्रमुख वक्ता लेखक एवं आलोचक डॉ शैलेंद्र कुमार शर्मा ने कहा कि भारतीय चिंतन और साहित्य में राष्ट्र और राष्ट्रभक्तों की अनेकविध छबियाँ अंकित हुई हैं। हमारे अमर सेनानियों ने राष्ट्रीय भावना को मनुष्य की स्वाभाविक भावनाओं  से उच्च स्थान दिया। स्वतंत्रता आं

कोविड - 19 तथ्यपरक जागरूकता अभियान

  विक्रम विश्वविद्यालय, उज्जैन का अनुरोध कोविड - 19 के संक्रमण से रोकथाम और बचाव के उपायों से सम्बंधित तथ्यात्मक सन्देशों को समस्त शिक्षकों, शोधकर्ताओं, विद्यार्थियों, शैक्षिक संस्थानों, जन समुदाय और समूहों के मध्य प्रसारित करने का अनुरोध है।

उज्जैन कोरोना हेल्थ बुलेटिन 26 जनवरी 2021

उज्जैन कोरोना हेल्थ बुलेटिन दिनांक 26 जनवरी 2021 पॉजिटिव आए सैंपल की संख्या = 05 आज दिनांक तक मौत = 103

शासकीय धनवंतरी आयुर्वेद महाविद्यालय में 72 वां गणतंत्र दिवस हर्षोल्लास से मनाया गया

उज्जैन : शासकीय धनवंतरी आयुर्वेद महाविद्यालय में 72 वा गणतंत्र दिवस बड़ी हर्षोल्लास से मनाया गया।   इस अवसर पर प्रधानाचार्य डॉ जेपी चौरसिया ने अपने उद्बोधन में कहा संविधान के नियमों का पालन करते हुए महाविद्यालय का विकास में मेरा योगदान हमेशा रहेगा ।  कार्यक्रम का प्रारंभ राष्ट्रीय गीत जन मन गण से हुआ तत्पश्चात महोदय को छात्र-छात्राओं द्वारा मध्य प्रदेश गान कुछ सुनाया गया , उसके पश्चात महाविद्यालय के वरिष्ठ प्रोफेसर डॉ व्यास डॉ गीता जटवा ने अपने विचार प्रस्तुत किए।   इस अवसर पर कोरोना महामारी के अवसर पर आयुर्वेद महाविद्यालय के शिक्षक - कर्मचारी - अधिकारी का सम्मान किया गया एवं छात्र छात्राओं का भी सम्मान किया गया जिन्होंने अपने जिला चिकित्सालय में अपने कर्तव्य का निर्वाह अच्छी तरह करा तथा समाज के हर वर्ग को आयुर्वेदिक औषधि उपलब्ध कराई , समाज को स्वस्थ रखने के लिए अहम भूमिका का पालन कर, समाज को स्वस्थ रखने में अपनी भूमिका का निर्वहन किया, वह सभी बधाई के पात्र हैं ।  जिन्होंने कोरोना काल में अपने परिवार की परवाह न करते हुए समाज की सेवा की ।  कार्यक्रम का संचालन डॉ रामतीर्थशर्मा ने किया तथ

आधुनिक हिन्दी कविता में राष्ट्रीयता के अमर स्वर - प्रो शैलेंद्रकुमार शर्मा

आधुनिक हिन्दी कविता में राष्ट्रीयता के अमर स्वर - प्रो शैलेंद्रकुमार शर्मा |  Immortal Voices of Nationalism in Modern Hindi Poetry - Prof. Shailendra Kumar Sharma हिन्दी कविता में राष्ट्रीयता की अभिव्यक्ति  डा. शैलेन्द्रकुमार शर्मा वैसे तो  ‘ वसुधैवकुटुम्बकम् ’  का सूत्र साहित्य एवं अन्य कला रूपों के केंद्र में रहा है ,  फिर भी अलग-अलग स्तरों पर जीते हुए कभी हम स्थानीयता या आंचलिकता के मान-बिन्दुओं की तलाश करते हैं तो कभी राष्ट्रीयता के। वस्तुतः स्थानीयता ,  राष्ट्रीयता और वैश्विकता के आयाम परस्पर पूरक भूमिका निभाते चलते हैं। अथर्ववेद का सूत्र  ‘ माता भूमिः पुत्रोऽहं पृथिव्याः ’  प्रत्येक व्यक्ति के सामने पृथ्वीपुत्र होने का प्रादर्श रखता है। इसी बात को रामायणकार वाल्मीकि राम के मुख से कुछ इस तरह कहलवाते हैं , ‘‘ जननी जन्मभूमिश्च स्वर्गादपि गरीयसी। ’  अपनी जन्मभूमि या भूखण्ड के प्रति प्रेम की इसी अभिव्यक्ति से  ‘ राष्ट्र ’  की अवधारणा ने जन्म लिया।  ‘ राष्ट्र ’   का प्रयोग हमारी परम्परा में तीन परस्पर सम्बद्ध अर्थों में होता आ रहा है। पहला राज्य ,  देश या साम्राज्य के अर्थ में ,  जैसे

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