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विक्रम विश्वविद्यालय के फार्मेसी संस्थान में विश्व तम्बाकू निषेध दिवस कार्यक्रम का आयोजन संपन्न

उज्जैन। मद्यपान तथा मादक पदार्थों, नशीली दवाइयों ,विभिन्न प्रकार के नशे के दुष्परिणामों से समाज के युवाओं को बचाने और जनजागृति हेतु फार्मेसी संस्थान में कार्यक्रम का आयोजन संपन्न हुआ।  वर्ष 2025 के लिए विश्व स्वास्थ्य संगठन की थीम तम्बाकू और निकोटीन उत्पादों की अपील को उजागर करना, इनसे जुड़े झूठ को उजागर करना, जीवन की रक्षा करना, पर आधारित विश्व तंबाकू निषेध दिवस पर माननीय कुलगुर प्रोफेसर अर्पण भारद्वाज ने आह्वान किया कि समस्त युवा नशे की भ्रामकता को समझे, अपने आप को नशे में ना डुबाएं, पढ़े लिखे, अच्छा आहार लें एवं अपने माता पिता के सपनों को साकार करने में अपनी ऊर्जा लगाएं एवं राष्ट्र के पुनर्निर्माण में अपनी महती भूमिका अदा करते हुए राष्ट्र में फैली इस प्रकार की विसंगतियों को दूर करने के यज्ञ में  अपनी भी आहुति प्रदान करें।  विभागाध्यक्ष प्रोफेसर कमलेश दशोरा ने विद्यार्थियों से आग्रह किया कि वे सोशल मीडिया पर नशे के भ्रामक प्रचार प्रसार,को रोके, नशीली दवाओं के क्रय विक्रय एवं नशीली दवाइयों के उपयोग से होने वाले दुष्परिणामों के बारे में संपूर्ण समाज को विभिन्न कार्यक्र...

वर्ल्ड नो टोबैको डे पर जेएनआईबीएम में जागरूकता अभियान: "स्वयं को आग मत लगाएं" का संदेश

उद्योगों की रणनीति पर परिसंवाद और युवाओं को तंबाकू से दूर रहने का आह्वान तंबाकू से हर साल 80 लाख से अधिक मौतें – प्रो. डॉ. अर्पण भारद्वाज, कुलगुरू थीम: "अनमास्किंग द अपील" – उद्योगों की रणनीति पर प्रकाश उज्जैन  – पंडित जवाहरलाल नेहरू व्यवसाय प्रबंध संस्थान (जेएनआईबीएम), विक्रम विश्वविद्यालय, उज्जैन में  वर्ल्ड नो टोबैको डे  की पूर्व संध्या पर एक विशेष आयोजन किया गया जिसमें तंबाकू निषेध को लेकर शपथ ग्रहण और परिसंवाद आयोजित किया गया। इस अवसर पर शिक्षकों, स्टूडेंट्स, स्टाफ और स्कॉलर्स को तंबाकू एवं उससे बने पदार्थों का सेवन नहीं करने और दूसरों को भी इसके लिए प्रेरित करने की शपथ दिलाई गई। संस्थान ने इस पहल के माध्यम से विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) और संयुक्त राष्ट्र संघ (UN) द्वारा घोषित सतत विकास लक्ष्य (SDG) के तहत स्वास्थ्य संबंधी जागरूकता बढ़ाने का प्रयास किया है। इस अवसर पर जेएनआईबीएम के निदेशक  प्रो. डॉ. धर्मेंद्र मेहता  ने तंबाकू मुक्त समाज के निर्माण में सहयोग देने का आह्वान करते हुए बताया कि जगह-जगह बैनर, पोस्टर, संगोष्ठी व रैलियों के माध्यम से इस जाग...

मध्य प्रदेश लोक सेवा आयोग द्वारा सहायक प्राध्यापक हिंदी पद हेतु विक्रम विश्वविद्यालय की हिंदी अध्ययनशाला के शोधार्थी बड़ी संख्या में चयनित

विक्रम विश्वविद्यालय की हिंदी अध्ययनशाला के शोधार्थियों ने दिलाया गौरव उज्जैन। मध्यप्रदेश लोक सेवा आयोग ने मध्य प्रदेश शासन उच्च शिक्षा विभाग के अंतर्गत सहायक प्राध्यापक हिंदी परीक्षा 2022 के नतीजे घोषित कर दिए हैं। आयोग ने कुल 116 पदों के लिए यह भर्ती प्रक्रिया शुरू की थी। इनमें सामान्य के 68 पद, एससी के 12 पद और एसटी वर्ग के 7 पद हैं, जबकि ओबीसी के 20 पद और ईडब्ल्यूएस वर्ग के 9 पद हैं। एमपी पीएससी ने 116 पदों में से 112 अभ्यर्थियों की चयन सूची जारी की है। इस सूची में विक्रम विश्वविद्यालय उज्जैन की हिंदी अध्ययनशाला के शोधार्थियों ने  गौरव दिलाया है। मध्य प्रदेश लोक सेवा आयोग द्वारा सहायक प्राध्यापक हिंदी पद हेतु हिंदी अध्ययनशाला के पन्द्रह से अधिक शोधार्थी चयनित हुए हैं।  यह जानकारी देते हुए विक्रम विश्वविद्यालय उज्जैन के कुलानुशासक एवं हिंदी विभागाध्यक्ष प्रोफेसर शैलेंद्र कुमार शर्मा ने बताया कि इन शोधार्थियों ने हिंदी अध्ययनशाला से शोध कार्य पूर्ण किया है अथवा वर्तमान में विभाग के आचार्यों के मार्गदर्शन में शोध कर रहे हैं। विक्रम विश्वविद्यालय उज्जैन की हिंदी अध्ययनशाला...

धन्वन्तरि आयुर्वेद चिकित्सालय में "स्वर्णप्राशन कार्यक्रम" 31 मई को आयोजित होगा

उज्जैन। शासकीय धन्वन्तरि आयुर्वेद चिकित्सा महाविद्यालय के प्रभारी प्रधानाचार्य डॉ. ओ.पी. व्यास ने बताया कि चिकित्सालय के शिशु एवं बालरोग विभाग के अंतर्गत 31 मई-2025 शनिवार को जन्म से लेकर 10 वर्ष तक के बच्चों को स्वर्णप्राशन कराया जाएगा।  बाल रोग चिकित्सा विशेषज्ञ डॉ. गीता जाटव ने बताया कि शिशु के बुद्धि व बलवर्धन तथा रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने के लिये एवं बार-बार होने वाले संक्रामक रोगों से बचाव के लिए अपने बच्चों का स्वर्णप्राशन अवश्य करावें। प्रत्येक बालक/बालिका का रजिस्ट्रेशन शुल्क रु. 50/-निर्धारित है। आयुर्वेद के ग्रन्थों में बच्चो के स्वास्थ्य संवर्धन के लिये स्वर्णप्राशन का अत्यधिक महत्व बताया गया है।  उक्त जानकारी प्रभारी प्रधानाचार्य डॉ. ओ.पी. व्यास तथा मीडिया प्रभारी डॉ. प्रकाश जोशी ने दी।

राजधानी भोपाल की बेटी शालिनी सिंह और उनकी सहेली योगिता राजपूत जो वृद्ध आश्रम, अनाथालय और जरूरतमंद बच्चों की करती हैं सहायता

🙏 द्वारा, राधेश्याम चौऋषिया 🙏 भोपाल। आज हम बात कर रहे हैं राजधानी भोपाल की दो बेटियों, शालिनी सिंह और योगिता राजपूत की, जो न सिर्फ़ बच्चों को नृत्य सिखाती हैं, बल्कि वृद्धाश्रम और अनाथालयों में जाकर लोगों की ज़िंदगी में खुशियाँ बाँटने का कार्य भी कर रही हैं। ये दोनों बेटियाँ मानसिक स्वास्थ्य के क्षेत्र में भी सक्रिय हैं और बुजुर्गों के साथ समय बिताकर उन्हें भावनात्मक सहारा देती हैं। हाल ही में वे "अपना घर ओल्ड एज होम" पहुँची, जहाँ उन्होंने बुजुर्गों के साथ नृत्य किया और उनसे दिल से बातें कर उनका मन हल्का किया। आज जब प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी महिला सशक्तिकरण की बात करते हैं, तो ऐसे में शालिनी और योगिता जैसी बेटियाँ इस विचार को साकार करती नज़र आती हैं। ये अपनी कला और करुणा के ज़रिए समाज में सकारात्मक बदलाव ला रही हैं और अपना हुनर दिखाकर बुजुर्गों के जीवन में खुशियां बांट रही हैं। हम इन बेटियों को उनके कार्यों के लिए दिल से शुभकामनाएं देते हैं और उनके जज़्बे की सराहना करते हैं। आज के इस व्यस्त जीवन में, दूसरों के दुख को सुख में बदलने की सोच रखने वाली बेटियाँ सचमुच समाज के लिए...

गौतम बुद्ध के माध्यम से भारत की संस्कृति का व्यापक प्रभाव सम्पूर्ण दुनिया में फैला - प्रो शैलेंद्रकुमार शर्मा

अंतरराष्ट्रीय संगोष्ठी में हुआ गौतम बुद्ध : भारतीय संस्कृति और जीवन मूल्यों के परिप्रेक्ष्य में पर मंथन  प्रतिष्ठित साहित्यिक संस्था राष्ट्रीय शिक्षक संचेतना द्वारा अंतरराष्ट्रीय संगोष्ठी का आयोजन किया गया। इस संगोष्ठी में गौतम बुद्ध: भारतीय संस्कृति और जीवन मूल्यों के परिप्रेक्ष्य में पर मंथन हुआ। कार्यक्रम के मुख्य वक्ता विक्रम विश्वविद्यालय उज्जैन के कुलानुशासक एवं हिंदी विभागाध्यक्ष प्रो. शैलेंद्र कुमार शर्मा थे। अध्यक्षता वरिष्ठ शिक्षाविद श्री बृजकिशार शर्मा ने की। विशिष्ट अतिथि नागरी लिपि परिषद के महामंत्री डाँ हरिसिंह पाल दिल्ली थे। विक्रम विश्वविद्यालय, उज्जैन के कुलानुशासक डॉ शैलेन्द्र कुमार शर्मा ने कहा कि गौतम बुद्ध के विचार पूरी दुनिया में व्याप्त हैं। जीवन के मूल्य वही हैं जो मानव सभ्यता के लिए मूल्यवान हैं। सभी अपने-अपने धर्म को सर्वोपरि मानते हैं, लेकिन जहां सत्य, प्रेम, अहिंसा, समता का पालन होता है, बुद्ध की दृष्टि में वही सच्चा धर्म है। बुद्ध के माध्यम से भारत की संस्कृति का गहरा प्रभाव सम्पूर्ण विश्व में व्याप्त हुआ है। बुद्ध ने अपने ढंग से नए मनुष्य और नए समा...

महाराणा प्रताप जयंती पर भव्य शौर्य यात्रा: महिला प्रकोष्ठ ने किया घर-घर जाकर आमंत्रण

उज्जैन। 29 मई को आयोजित होने वाली महाराणा प्रताप जयंती की शौर्य यात्रा को लेकर अखिल भारतीय क्षत्रिय महासभा महिला प्रकोष्ठ द्वारा व्यापक तैयारियाँ की जा रही हैं। इस अवसर पर समाज की महिलाओं ने घर-घर जाकर आमंत्रण दिया और वाहन रैली के माध्यम से आमजन को कार्यक्रम में शामिल होने का आग्रह किया। शौर्य यात्रा 29 मई को शाम 4:00 बजे चामुंडा माता चौराहा से प्रारंभ होगी। इस यात्रा में राजपूत क्षत्राणियाँ और बाईसा पारंपरिक राजपूती पोशाक में सम्मिलित होंगी, जो राजपूत समाज की संस्कृति और शौर्य का प्रतीक होगी। समाज की समस्त महिलाओं और बच्चों से अनुरोध किया गया है कि वे इस गौरवशाली आयोजन में भाग लेकर समाज की गरिमा और एकता को सशक्त बनाएं। इस आयोजन की तैयारियों के अंतर्गत निकाली गई वाहन रैली में समाज की कई सक्रिय महिलाएँ उपस्थित रहीं, जिनमें प्रमुख रूप से श्रीमती हेमंत कुंवर राठौर, श्रीमती राजकुमारी ठाकुर, श्रीमती अनीता नरूका, श्रीमती अपर्णा गहलोत, श्रीमती मंजू तोमर, श्रीमती नेहा चौहान, श्रीमती गीता बघेल, श्रीमती रेखा चौहान, श्रीमती प्रेम कंवर चौहान, श्रीमती रजनी सिकरवार, श्रीमती भारती तोमर, श्रीमत...

कर्मचारियों के हित में है प्रदेश का हित, प्रदेश के हित में राष्ट्र का हित : मुख्यमंत्री डॉ. यादव

रिक्त पद भी भरेंगे, पदोन्नति का रास्ता भी निकाल रहे हैं : मुख्यमंत्री डॉ. यादव राज्य कर्मचारियों का बीमा भी कराएगी सरकार मंत्रालयीन कर्मचारी परिवार ने किया मुख्यमंत्री डॉ. यादव का सम्मान तिरंगा यात्रा में भी शामिल हुए मुख्यमंत्री डॉ. यादव 🙏  द्वारा, राधेश्याम चौऋषिया  🙏 भोपाल । मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव का मंगलवार, 27 मई, 2025 को मंत्रालय परिसर में मंत्रालय कर्मचारी परिवार द्वारा आत्मीय स्वागत व सम्मान किया गया। मंत्रालय परिवार ने मुख्यमंत्री डॉ. यादव को कमल पुष्प की रजत प्रतिकृति भेंट कर सम्मानित किया। इस अवसर पर मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने मंत्रालय परिवार का आभार व्यक्त करते हुए कहा कि सभी राज्यकर्मी सम्मान और साधुवाद के पात्र हैं, क्योंकि इनकी कर्मठता और सामूहिक परिश्रम से ही मध्यप्रदेश आज देश के अग्रणी राज्य के रूप में पहचाना जा रहा है। राज्यकर्मी सच्चे अर्थों में कर्म योगी है। ये प्रदेश की शासन और प्रशासन व्यवस्था की धुरी हैं। राज्यकर्मी पूरी निष्ठा और मेहनत से अपने पदीय दायित्व निभाएं, इनके सभी हितों और अनुलाभों (इंसेंटिव्स) का सरकार पूरा-पूरा ध्यान रखेगी।  मुख्यमंत्र...

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