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प्रकृति से उतना ही लो जितना आवशयक हो: डॉ. शिवकुमार शर्मा

शक्ति के बिना शिव भी शव है : डॉ. शिवकुमार शर्मा

Bhopal | “देने वाला ही देवता होता है”, “प्रकृति से उतना ही लो जितना आवशयक हो”, “प्रकृति के साथ मनोवैज्ञानिक जुड़ाव ही भारतीय संस्कृति है” उक्त विचार डॉ. शिव कुमार शर्मा, राष्ट्रीय संगठन सचिव, विज्ञान भारती ने एनआईटीटीटीआर भोपाल में शासकीय गृह विज्ञान महाविद्यालय, जबलपुर की छात्राओं को संबोधित करते हुए व्यक्त किये। यह सभी छात्राएं 05 दिवसीय उच्च स्तरीय प्रशिक्षण कार्यक्रम में शामिल होने निटर भोपाल में उपस्थित है। डॉ. शर्मा ने कहा कि “शक्ति के बिना शिव भी शव है”, जीवन जीने का तरीका जीवन की दृष्टि से जुड़ा होना चाहिए। इस अवसर पर छात्राओं को संबोधित करते हुए निटर भोपाल के निदेशक डॉ. सी.सी त्रिपाठी ने कहा कि भारतीय संस्कृति को आज पूरा विश्व अपना रहा है। महिलाएं ही संस्कृति की वास्तविक वाहक होती है। 

डीन साइंस व जनसंपर्क अधिकारी प्रो. पी.के पुरोहित ने समस्त मीडिया को धन्यवाद देते हुए कहा कि किसी भी संस्थान को समाज के साथ जोड़ने में आज मीडिया की भूमिका अहम है। हमे समस्त प्रिंट एवं इलेक्ट्रोनिक मीडिया का सहयोग हमेशा मिलता रहा है। इसी के फलस्वरूप निटर भोपाल ने अभिनव प्रयोग करते हुए गत 3 वर्षों में विभिन्न राष्ट्रीय एवं क्षेत्रीय समाचार पत्रों में प्रकाशित समाचारों के संकलन को "संवाद सरिता" पुस्तक के रूप में 05 संस्करणों में प्रकाशित किया है, जिसका विमोचन उपस्थित अतिथियों द्वारा किया गया। इस कार्यक्रम में विभिन्न संकाय सदस्यों ने भाग लिया। कार्यक्रम का संचालन श्रीमती बबली चतुर्वेदी द्वारा किया गया।

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