सबको शिक्षा और अच्छी शिक्षा के लिये नई राष्ट्रीय शिक्षा नीति - डॉ. चौधरी
हम भारतीय होने के नाते हमारे लिए यह गौरव की बात है कि शताब्दियों से उपेक्षित भारतीय ज्ञान परम्परा को शिक्षा में सम्मिलित करने और उसे सम्मानजनक स्थान देने की यह पहल राष्ट्रीय शिक्षा नीति में सबको शिक्षा और अच्छी शिक्षा प्रदान की जावेगी।
उपरोक्त उद्बोधन आदर्श शिक्षक डॉ. प्रभु चौधरी (महासचिव, राष्ट्रीय शिक्षक संचेतना) ने भारती की आजादी के प्रथम पूर्व शिक्षा मंत्री डॉ. मौलाना अबुल कलाम आजाद के जयंती दिवस पर शिक्षा दिवस समारोह में व्यक्त किया।
समारोह के मुख्य अतिथि श्री हरेराम वाजपेयी(अध्यक्ष, हिन्दी परिवार इन्दौर) ने अपने वक्तव्य में बताया कि राष्ट्रीय शिक्षा नीति में प्राथमिक शिक्षा मातृभाषा में दी जावेगी। हमें शिक्षा के साथ-साथ विद्या(व्यवसायिक प्रशिक्षण) भी प्राप्त होगा।
संगोष्ठी का शुभारम्भ सरस्वती वंदना सुश्री रूलीसिंह ने एवं संस्था परिचय रोहिणी डावरे तथा स्वागत भाषण डॉ. शिवा लोहारिया ने दिया। संगोष्ठी के मुख्य वक्ता डॉ. शहाबुद्दीन शेख(राष्ट्रीय कार्यकारी अध्यक्ष, पूणे) डॉ. जी. डी. अग्रवाल(राष्ट्रीय वरिष्ठ उपाध्यक्ष, इन्दौर) पूर्व शिक्षा अधिकारी श्री जे. के. शर्मा इन्दौर ने भी सम्बोधित किया। अध्यक्षता सुवर्णा जाधव मुख्य कार्यकारी अध्यक्ष ने की।
संगोष्ठी का संचालन राष्ट्रीय उपमहासचिव श्रीमती लता जोशी मुम्बई ने एवं आभार श्री अनिल ओझा राष्ट्रीय कोषाध्यक्ष ने माना। संगोष्ठी में लगभग 32 पदाधिकारी उपस्थित रहे। सभी ने परस्पर दीपावली की बधाई एवं शुभकामनाएँ दी है.
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