स्वच्छता अभियान से जुड़ें, मलेरिया से बचें उज्जैन। पंडित जवाहरलाल नेहरू व्यवसाय प्रबंध संस्थान, विक्रम विश्वविद्यालय, उज्जैन में विश्व मलेरिया दिवस के अवसर पर जागरूकता कार्यक्रम का आयोजन किया गया। इस अवसर पर संस्थान में स्वच्छता अभियान के माध्यम से मलेरिया से बचाव का संदेश दिया गया। जागरूकता कार्यक्रम के अवसर पर विक्रम विश्वविद्यालय के कुलगुरु प्रो. डॉ. अर्पण भारद्वाज ने स्वास्थ्य सतर्कता संदेश में कहा कि, मलेरिया मुख्य रूप से संक्रमित मादा एनोफेलीज़ मच्छर के काटने से फैलता है। मलेरिया का कारण बनने वाले प्लास्मोडियम परजीवी की पाँच प्रजातियाँ होती हैं, जिनमें पी. फाल्सीपेरम और पी. विवैक्स सबसे अधिक घातक मानी जाती हैं। पी. फाल्सीपेरम विशेष रूप से अफ्रीकी महाद्वीप में पाया जाता है और यह सबसे घातक प्रकार है, जबकि पी. विवैक्स उप-सहारा अफ्रीका के बाहर के क्षेत्रों में सबसे ज़्यादा देखा जाता है। अन्य प्रजातियों में पी. मलेरिए, पी. ओवेल और पी. नोलेसी शामिल हैं। प्रो. डॉ. धर्मेंद्र मेहता, निदेशक, JNIBM ने विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) की 2023 की रिपोर्ट का हवाला देते हुए बताया कि वर्ष 2023 मे...